अंक 44, नवम्बर 2023
संपादकीय
निठारी काण्ड पर फैसला : न्याय प्रणाली की हकीकत
इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने 18 अक्टूबर के अपने फैसले में कुख्यात निठारी काण्ड के दो अपराधियों, मोनिन्दर सिंह पन्धेर और उसके नौकर सुरेंदर कोली की सजा माफ कर दी। गाजियाबाद की सीबीआई कोर्ट ने इन दोनों को 15 साल की एक लड़की और 18 बच्चों के अपहरण, बलात्कार और हत्या के मामले में फाँसी कि...
देश विदेश के इस अंक में
सामाजिक-सांस्कृतिक
सामाजिक न्याय की अवधारणा
सामाजिक-सांस्कृतिक | शैलेन्द्र चौहानएक विचार के रूप में सामाजिक न्याय की बुनियाद सभी मनुष्यों को समान मानने के आग्रह पर आधारित है। इसके मुताबिक किसी के साथ सामाजिक, धार्मिक और सांस्कृतिक पूर्वाग्रहों के आधार पर भेदभाव नहीं होना चाहिए। हर किसी के पास इतने न्यूनतम संसाधन होने चाहिए कि वे ‘उत्तम जीवन’… आगे पढ़ें
सामाजिक बदलाव और संस्कृति
सामाजिक-सांस्कृतिक | आनन्द स्वरूप वर्मा(प्रस्तुत लेख जनपक्षधर पत्रकार, अफ्रीका, नेपाल समेत तीसरी दुनिया के विशेषज्ञ और ‘समकालीन तीसरी दुनिया’ पत्रिका के सम्पादक आनन्द स्वरूप वर्मा जी के व्याख्यान का संक्षिप्त रूप है। उन्होने यह व्याख्यान 14 मई 2023 को देहारादून में ‘इतिहासबोध’ द्वारा प्रो–… आगे पढ़ें
राजनीति
नया वन कानून: वन संसाधनों की लूट और हिमालय में आपदाओं को न्यौता
राजनीति–– अखर शेरविन्द, संसद के मानसून सत्र में 26 जुलाई को लोकसभा ने महज 15 मिनट की चर्चा के बाद एक ऐसा विधेयक पारित कर दिया गया तो पूरे हिमालयी ही नहीं बल्कि अन्तरराष्ट्रीय सीमा से लगे देश के सभी इलाकों में बेरोकटोक कॉरपोरेटी लूट को तो न्यौता देगा ही। हिमालयी राज्यों… आगे पढ़ें
हमें मासूम फिलिस्तीनियों के कत्ल का भागीदार मत बनाइये, मोदी जी
राजनीति | प्रवीण कुमारहमास के हमले के बाद जब इजराइल फिलिस्तीन की जनता पर अँधाधुंध बम बरसा रहा था, हजारों आम नागरिकों और बच्चों का कत्ल कर रहा था, उस समय भारत के प्रधानमन्त्री मोदी ने इजराइल को शाबाशी देते हुए ट्वीट किया कि भारत के 130 करोड़ लोग इजराइल के साथ खड़े हैं। अपने इस बयान से मोदी ने… आगे पढ़ें
साहित्य
हसरत मोहानी : उर्दू अदब का बेमिसाल किरदार
साहित्य | विजय गुप्तहसरत ‘मोहानी’ उर्दू के मकबूल शायर होने के साथ भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के बड़े योद्धा थे। उन्होंने ऐशो–आराम की ज़िन्दगी छोड़ कर क्रान्ति की कठिन और जलती हुई राह चुनी। अपना सब कुछ होम किया और देशवासियों में ज्ञान, प्रेम और स्वाधीनता की जोत जगाई। 1857 की… आगे पढ़ें
विचार-विमर्श
धर्म की आड़
विचार-विमर्श–– गणेश शंकर विद्यार्थी, इस समय देश में धर्म की धूम है। उत्पात किये जाते हैं तो धर्म के नाम पर और जिद की जाती है तो धर्म के नाम पर। रमुआ पासी और बुद्धू मियाँ धर्म और ईमान को जानें या ना जानें, परन्तु वे धर्म के नाम पर उबल पड़ते हैं और जान लेने और जान देने के लिए तैयार… आगे पढ़ें
पश्चिमी देशों में दक्षिणपंथी और फासीवादी पार्टियों का उभार
विचार-विमर्श | विक्रम प्रतापपिछले चार दशकों के दौरान पूरी दुनिया में दक्षिणपंथी विचारधारा और फासीवादी राजनीति का जबरदस्त उभार हुआ है। अगर हम पश्चिमी देशों पर नजर डालें तो पिछले एक दशक से इन देशों में इस विचारधारा का प्रसार काफी बढ़ गया है। कई देशों में शासक वर्ग ने खुद दक्षिणपंथी समूहों के निर्माण को बढ़ावा… आगे पढ़ें
बीसवीं सदी : जैसी, मैंने देखी
विचार-विमर्श | नामवर सिंह(प्रसिद्ध इतिहासकार एरिक हाब्सबाम बीसवीं सदी को ‘अतियों का युग’ कहते हैं। एक भारतीय के लिए बीसवीं सदी के क्या मायने हैं? इसी सदी में हम उपनिवेश से मुक्त हुए। पर उससे पहले सामाजिक और सांस्कृतिक मुक्ति के लिए हमने लम्बी लड़ाई लड़ी। बीसवीं सदी के मलवे से 21वीं सदी की… आगे पढ़ें
लीबिया की सच्चाई छिपाता मीडिया
विचार-विमर्श–– जोनाथन कुक, पिछले दो दशकों से ‘सुरक्षा का उत्तरदायित्व’ सिद्धान्त के तहत चलने वाली पश्चिम की जानीमानी मौजूदा विदेश नीति की हकीकत लीबिया के बाढ़ के मलबे में साफ दिखायी पड़ रही है। भारी बारिश और तूफान के कारण डेर्ना शहर की सुरक्षा करने वाले दोनों बाँध… आगे पढ़ें
अन्तरराष्ट्रीय
इजराइल का क्रिस्टालनाख्त नरसंहार
अन्तरराष्ट्रीय––ब्रूस न्यूबर्गर (गाजा के अस्पताल पर हमले के साथ इजराइल का हत्या अभियान जारी है : 7 अक्टूबर 2023 को हमास ने गाजापट्टी की ओर से हजारों रोकेट से इजराइल पर ताबड़तोड़ हमला किया जिससे 1400 इजराइली मारे गये। यह हमला जैसे इजराइल के लिए बहाना बन गया और उसने हमास के नाम… आगे पढ़ें
फ्रांसीसी साम्राज्यवाद के खिलाफ अफ्रीका में संघर्ष की नयी लहर
अन्तरराष्ट्रीय | सोनू पवाँरअफ्रीकी देश नाइजर में सेना के कुछ हिस्सों ने देश के राष्ट्रीय दिवस, 3 अगस्त 2023 से ठीक पहले नाइजर के राष्ट्रपति मोहम्मद बजौम को सत्ता से हटा दिया। जनता भी सेना के समर्थन में उतर आयी। उसने “फ्रांस मुर्दाबाद” के नारे लगाये। फ्रांसीसी दूतावास को भी निशाना बनाया गया,… आगे पढ़ें
‘जल नस्लभेद’ : इजराइल कैसे गाजा पट्टी में पानी को हथियार बनाता है
अन्तरराष्ट्रीय–– नैंसी मुर्रे गाजा पट्टी में इजरायल की जल नीतियों को कोई कैसे समझा सकता है–– पृथ्वी पर सबसे घनी आबादी वाले स्थानों में से एक–– जहाँ इजरायल ने 2005 में अपनी 21 बस्तियों को खाली कर दिया था? और तब से, गाजा वासियों को भूमि पर लगातार कब्जे के… आगे पढ़ें
समाचार-विचार
आरटीआई पर सरकार का बड़ा हमला
समाचार-विचार | सतेन्द्र सिद्धार्थअक्टूबर महीने के अन्त में एक जनहित याचिका की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने सूचना का अधिकार (आरटीआई) पर चिन्ता जताते हुए कहा कि केन्द्रीय सूचना आयोग और राज्य सूचना आयोग में अधिकारियों के न होने पर यह एक ‘मृत कानून’ बनता जा रहा है। केन्द्रीय सूचना आयोग इस वर्ष सूचना… आगे पढ़ें
एआई : तकनीकी विकास या आजीविका का विनाश
समाचार-विचार2 मई 2023 को अमेरिका के न्यूयॉर्क शहर की प्रसिद्ध जगह, “टाइम्स स्क्वायर” पर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के बढ़ते इस्तेमाल के विरोध में एक बड़ी हड़ताल हुई। इस हड़ताल में मुख्य रूप से हॉलीवुड के अभिनेता, लेखक और कर्मचारी शामिल हुए। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल हॉलीवुड… आगे पढ़ें
जी–20 शिखर सम्मलेन : जनता की बर्बादी पर राजनेताओं की अय्याशी
समाचार-विचार | मोहित पुण्डीरबीते 9–10 सितम्बर को दिल्ली में जी–20 का शिखर सम्मेलन आयोजित हुआ। भारत ने इस सम्मेलन की 18वीं बैठक की मेजबानी की। मुख्यधारा की मीडिया ने इसे एक अभूतपूर्व घटना की तरह जनता के बीच पेश किया। इसे मोदी की वैश्विक नीति की सफलता बताया और भाजपा के पक्ष में चुनावी माहौल बनाने… आगे पढ़ें
देश में ये कैसी खुदकशी की खेती
समाचार-विचार | अमित इकबालराष्ट्रीय आपराधिक रिकॉर्ड ब्यूरो के अनुसार 2021 में खुदकशी करने वाले 1,64,033 लोगों में से छात्रों (18 साल से कम उम्र ) की संख्या है 13,089 या 8 फीसदी। रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़ों से ही पता चलता है कि पिछले एक दशक में (2011 से) छात्रों की खुदकशी 70 फीसदी बढ़ चुकी है। नीट, जॉइंट… आगे पढ़ें
धड़ल्ले से बढ़ता नकली दवाओं का कारोबार
समाचार-विचार | उत्कर्षभारत में नकली दवाओं का कारोबार तेजी से बढ़ता जा रहा है। हाल ही में खबर आयी कि दिल्ली एनसीआर, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश सहित देश भर में सात करोड़ रुपये की नकली दवाएँ मेडिकल स्टोरों को सप्लाई की गयी हैं। यह दवाएँ मुख्यत: बीपी, सुगर, दर्द आदि सामान्य बीमारियों की हैं। इसमें यह भी… आगे पढ़ें
नूंह–मेवात साम्प्रदायिक दंगा
समाचार-विचार | अजहर31 जुलाई को हरियाणा के नूंह में बजरंग दल ने धार्मिक यात्रा का आयोजन किया था जिसमें हजारों की संख्या में बजरंग दल के कार्यकर्ताओं और श्रद्धालुओं ने हिस्सा लिया। बजरंग दल और विश्व हिन्दू परिषद ने इस यात्रा में शामिल होने के लिए हरियाणा के सभी जिलों से अपने कार्यकर्ताओं और श्रद्धालुओं… आगे पढ़ें
भारत पर बढ़ता विदेशी कर्ज
समाचार-विचार | समर्थभारत का विदेशी कर्ज 629–1 अरब डॉलर पार कर गया है। भारत को कभी आत्मनिर्भर बनाने की तो कभी विश्वगुरु बनाने की झूठी होड़ के बीच यह कामयाबी हासिल की गयी है। इसका खुलासा भारतीय रिजर्व बैंक ने इसी साल जून के महीने में जारी किया। इसका मतलब हुआ कि भारत सरकार ने देश के हर नागरिक… आगे पढ़ें
भूख सूचकांक में भारत अव्वल
समाचार-विचार | प्रवीण कुमारहाल ही में जारी वैश्विक भूख सूचकांक में भारत की स्थिति और ज्यादा बदतर नजर आयी है। भूख के मामले में 115 देशों में भारत चार अंक नीचे खिसकर 111 वें स्थान पर पहुँच गया है। भूख के मामले में बहुत से अफ्रीकी देश भी भारत से बेहतर स्थिति में हैं। जैसे शैतान रोशनी से डरता है उसी तरह भारत… आगे पढ़ें
मणिपुर हिंसा : सवालों के कटघरे में केन्द्र और राज्य सरकारें
समाचार-विचार | अभिषेक तिवारीबीते जुलाई के महीने में मणिपुर से महिलाओं को नग्न घुमाने और सामूहिक बलात्कार की शर्मनाक घटना का वीडियो सामने आया। इसने राष्ट्र की चेतना को आहत कर दिया। इनसानियत का सिर शर्म से झुक गया। इस पर मानवाधिकार कार्यकर्ता, इरोम शर्मिला, जो 16 साल तक सेना के कथित अत्याचारों के खिलाफ भूख… आगे पढ़ें
मनरेगा डेटाबेस से सरकार ने 5 करोड़ मजदूरों के नाम हटाये
समाचार-विचार | आकाशइस साल राज्य सरकारों ने लगभग देश के पाँच करोड़ से अधिक मजदूरों के नाम मनरेगा सूची से हटा दिये हैं। जबकि पिछले साल की तुलना में इस साल 4 फीसदी से अधिक मजदूरों ने मनरेगा में आवेदन किया था। इसके साथ ही पिछले साल मनरेगा का बजट लगभग 90 हजार करोड़ रुपये था जिसे सरकार ने इस साल घटाकर… आगे पढ़ें
महाराष्ट्र में कर्मचारी भर्ती का ठेका निजी कम्पनियों के हवाले
समाचार-विचारमार्च के महीने में महाराष्ट्र सरकार ने राज्य के सभी कर्मचारियों के हितों पर एक बड़ा हमला किया। उसने एक गवर्नमेण्ट रिजोलुयशन (जीआर) के जरिये कर्मचारियों की भर्ती को ठेके पर उठा दिया है। यह ठेका 9 निजी कम्पनियों को 5 साल के लिए दे दिया गया है। अब हर कुशल, अर्ध–कुशल और अकुशल… आगे पढ़ें
लोग पुरानी पेंशन योजना की बहाली के लिए क्यों लड़ रहे हैं
समाचार-विचारदिल्ली की रामलीला मैदान में 1 अक्तूबर को सरकारी कर्मचारियों ने केन्द्र सरकार की नयी पेंशन योजना को रद्द करने और पुरानी पेंशन योजना की बहाली के लिए प्रदर्शन किया। इसमें केन्द्र और राज्य सरकारों के कर्मचारियों के साथ ही सार्वजनिक उपक्रमों के हजारों कर्मचारियों ने हिस्सा लिया।… आगे पढ़ें
विधायिका में महिला आरक्षण की असलियत
समाचार-विचार128वें संविधान संशोधन के तहत लोकसभा, विधान परिषद और विधान सभा में महिलाओं के लिए एक–तिहाई सीटों पर आरक्षण का कानून पास हो गया। इसे लेकर केन्द्रीय कानून मन्त्री ने नया शिगूफा छोड़ा है कि यह महिलाओं के सशक्तिकरण लिए है। यह लोक लुभावना मुद्दा असल में महिलाओं के सशक्तिकरण लिए… आगे पढ़ें
सिक्किम की विनाशकारी बाढ़ भविष्य के लिए चेतावनी है
समाचार-विचार | अरुण कुमार4 अक्टूबर 2023 को सिक्किम में दक्षिण ल्होनक ग्लेशियर झील फट गयी। उससे आये पानी के सैलाब से वहाँ की सबसे बड़ी जल–विद्युत परियोजना, तीस्ता–3 का चुंगथांग बाँध टूट गया। यह जल–विद्युत परियोजना ऊपरी हिमालय क्षेत्र में बनायी गयी थी। बाँध टूटने से आयी बाढ़ ने सिक्किम,… आगे पढ़ें